Wednesday, 13 January 2016

कैसी है यह दुनियॉ जिसके हर खेल निराले

यह दुनियॉ रंग बिरंगी भैया
हर किसी की भँवर में फँसी है नैया
परेशानी तो पीछा ही नहीं छोडती यहॉ
कभी चलते तूफान तो कभी चलती ऑधियॉ
थपेडे सहते सहते बीत जाती है जिंदगानियॉ
कभी आते हैं दुख तो कभी खुशियॉ
पर बदलती नहीं है दिनचर्या
जैसे ही लगता है अब ठीक है आ जाती है कठिनाइयॉ
कोई खाकर परेशान तो कोई बिना खाए परेशान
कोई गरिबी से परेशान तो कोई अमीरी से
किसी को सोने के लिए वक्त नहीं
कोई सोने की कोशिश में लेता दवाईयॉ
कोई बिना भोजन के दुबला
कोई दुबला होने के लिए डाइटिंग पर
शिकायत ही शिकायत है फिर भी जीए जा रहे हैं
क्योंकि कुछ बात तो तुझमें है जिंदगी कि
हम मरना भी तो नहीं चाहते
तुझे बचाने के लिए लेते रहते हैं दवाईयॉ
करते रहते हैं व्यायाम
हँसने के लिए ज्वाइन करते हैं लॉफिंग क्लब
हर तरह की कसरत और कवायद करते हैं
यह सब कुछ केवल तुम्हारे लिए जिंदगी
क्योंकि हम ढुढते रहते हैं तुझमें सारी खुशियॉ

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