Wednesday, 28 October 2020

रिश्ते खूबसूरत तो जिंदगी खूबसूरत

कपडा धोया
बर्तन धोया
फर्श धोया
सब साफ सफाई
साबुन और डिटर्जेंट से
देह - शरीर को भी रगड रगड कर
बालों को भिन्न भिन्न शैम्पू से
धूल - धक्कड
गर्दा - मिट्टी
सब जाडा
फर्नीचर  की चमक धीमी
उस पर पालिश
लोहे वाले की जंग
रंग रोगन करना
घिस घिस कर छुडाना
व्यस्त रहते हैं इनमें
हर दिन हर हफ्ते हर महीने हर साल
यह तो भौतिक संशाधन
चमक जाएंगे
नए जैसे लगने लग जाएंगे
संबंधों पर भी कभी-कभी धूल जम जाती है
नीरस पड जाते हैं
गलतफहमियां हो जाती है
प्रेम और स्नेह में जंग लग जाता है
अपनापन खत्म होते जाता है
उसको भी तो चमकाना है
वहीं गर्माहट और अपनापन लाना है
इसका एहसास कराना होगा
रिश्तों को बचाना होगा
उस पर जमी धूल की परत को झाडना होगा
फर्नीचर खूबसूरत हो तो घर खूबसूरत
रिश्ते खूबसूरत तो जिंदगी खूबसूरत

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