Monday, 25 October 2021

मेरा चांद मेरे लिए खास है

करवा चौथ क्या मेरा चांद तो हर दिन मेरे लिए खास है
उसके बिना तो कुछ भी नहीं
उसी के कारण मेरे चेहरे पर रहती है चमक बरकरार
उसी की शुभ्र चांदनी में रहता है जीवन शीतल
अंधकार का साया भी नहीं पडने देना चाहता अपने चांद पर
कभी न उसके जीवन में अमावस आए
हमेशा पूर्णिमा की तरह खिला - खिला चेहरा रहें
जिसे मैं निहारता ही रहूँ
घटना - बढना ,ग्रहण यह सब तो आम बात है
जीवन है तो यह सब होगा ही
बस साथ न छूटे
हर वक्त सामने रहें
मेरी सांसों में
मेरी रग रग में
मेरे जीवन की बगिया में महका करें
मेरा चांद कोई मामूली नहीं
मेरे दिल में बसता है
वह हर दिन हर पल
मेरे लिए खास है ।

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