पेड़ देखा तो यह ख्याल आया
फलदायक वृक्ष तो लोग लगाए
पर दूसरे पीपल ,बबूल , बरगद ,पाकड़ ,नीम जैसे
इनकी तो कोई गिनती नहीं
अनगिनत कही भी ऊग आए
यहाँ तक कि दिवारों औ छत पर भी
आज छाया दे रहे हैं राहगीरों को
पूजे जा रहे हैं
पर मशक्कत किसी की नहीं
उन अंजान पक्षियों की
चारा या बीट
पर उगा देती निर्जन जंगल मे भी पेड़
आभार मानना है उनका
मानव तो पेड़ काटता है
ये बिना बोले लगा जाती है
प्राणवायु दे जाती है
वही आज मरहूम हो रही
नीड़ नष्ट हो रहे
ठौर -ठिकाना कहाँ ढूंढे
विकास तो हम कर रहे
गगनचुंबी ईमारतें बना
उनका आशियाना उजाड़ रहे
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Monday, 28 May 2018
किसकी देन हैं ये पेड़
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