Friday, 24 September 2021

सुंदरता कभी-कभी अभिशाप

सुंदरता यह प्रकृति का वरदान
पर बन जाता कितनों के लिए अभिशाप
घर से बाहर निकलना मुश्किल
सडक पर चलना मुश्किल
लोगों की घूरती निगाहों का सामना
इतना आसान नहीं  होता
न पसंद के कपडे पहनना
न घूमने - फिरने जाना
घर वालों की पाबंदी
एक मन में डर समाया
न जाने कब कौन सी दुर्घटना घट जाएं
अगर गरीब और मध्यम वर्गीय हुआ तो और आफत
अमीर के लिए ठीक है
नौकरी पेशा और साधारण वर्ग के लिए नहीं
हमेशा गाडी में तो नहीं चल सकते
बस और लोकल के धक्के भी खाना होता है
सडक पर चलना है
बस स्टॉप पर खडा होना है
अगर यह सब करना है
तब सामान्य और साधारण ही दिखना ठीक है
सुंदरता अपने साथ न जाने कितनी आफत लेकर आता है
इतिहास भी गवाह है ।

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