आदर्श हैं हमारे
जनता जनार्दन हैं
जनता की आवाज है
बहुत बडी जिम्मेदारी हैं इनकी
जनता के प्रतिनिधि हैं
चुने हुए सांसद
इनको भेजा गया है
जनता की समस्याओं के निदान के लिए
प्रजातंत्र का मंदिर संसद
जिस तरह से व्यवहार
आरोप - प्रत्यारोप
छींटाकसी और तानेबाजी
किसी को नीचा दिखाना
प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष
घटिया से घटिया स्तर पर उतरना
अभद्रता की सारी सीमा पार करना
नारेबाजी और जुमलेबाजी
पहले भी बहस होती थी
आरोप - प्रत्यारोप होते थे
लेकिन इस स्तर पर नहीं
इतनी ओछी राजनीति
ऐसे शब्दों का इस्तेमाल करना
कि सामने पडे तो हिचक हो
लगता है एक - दूसरे के कट्टर दुश्मन हो
एक देशवासी न हो
सब देख रहे हैं
आने वाली पीढ़ी देख रही है
अपने नेताओं को
क्या मिसाल प्रस्तुत कर रहे हैं
दुध का धुला तो कोई नहीं है
गुप्त जी की पंक्तियाँ याद आ रही है
टुकड़े टुकड़े हो बिखर चुकी मर्यादा
उसको दोनों ही पक्षों ने तोड़ा है
पांडव ने कुछ कम कौरव ने कुछ ज्यादा
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