Friday, 19 June 2015

हमारी अधूरी कहानी। फिल्म तमाम लोगो की अधूरी कहानी|

                                                     
मांग मेरी और उसमे सिन्दूर तुम्हारे नाम का
कोख मेरी,दूध मेरा,खून मेरा और बच्चा तुम्हारे नाम का
आखिर ये कैसी परंपरा है?
हमें पैदा होने से पहले मार देते हो या फिर पैदा होने के बाद
महेश भट्ट की यह फिल्म एक क्रन्तिकारी नारी की कहानी
जो इसी जनम में पति से अलग होना चाहती है
वह सीता या सावित्री नहीं जो जन्मो जनम तक अत्याचार सहे
और अपना पत्नी धरम निभाए
यह जीवन का जिया हुआ सच है और तमाम लोगो की अधूरी कहानी।                                                  
       

पानी-पानी मुंबई बेहाल लोग। Mumbai Rains|

पहली ही बरसात ख़ुशी के सन्देश के साथ आफत की बारिश भी ले आई
मुंबई पूरी तरह से ठप पड गयी लोग परेशान है,जान-माल की हानि
इसका कारण क्या?
केवल प्रशासन,बी एम सी, ठेकेदार,सफाई कर्मचारी या कही हम भी
कचरा,प्लास्टिक,यहाँ-वाहा फेकना,नालो की सफाई नहीं,कही भी आवाज़ खड़ा करना
ये जो नाले है वह ब्रिटिश के समय के बनाये गए है
आज केवल बिल्डिंगे बन रही है और कुछ नहीं
ब्रिटिश दूर-दर्शी थे जो आज तक उनके बनाये साधन चल रहे है
हमारी तो बनायीं सड़क एक बारिश भी बर्दाश्त नहीं कर सकती
टापू पर बनी मुंबई कितना सहन करेगी
अभी भी संभल जाये तो अछा है।  

Yulin dog meat festival


जिन्दा जलाना,उबालना,मारना यह सब केवल खाने के लिए
त्यौहार ख़ुशी के लिए होना चाहिए न कि किसी बेज़ुबान जानवर को मारकर उत्सव मानाने के लिए
कुत्ता इतना वफादार,रक्षक,उसका दूसरे कार्यो में योगदान हो सकता है
भारत में भी बैल,भैस,बकरे की बलि दी जाती है देवी देवता और खुदा को प्रसन्न करने के लिए
ऐसे बलि से कौनसे देवी-देवता प्रसन्न होने वाले है
पहले शिकार होते थे पर आज वह क़ानूनी अपराध माना जाता है
यह पालतू घर घर पाया जाने वाला जानवर,उनपर अत्याचार
कुत्ते को मारकर और खाकर कौनसा गुडलक होगा ?
ऐसी परम्पराओ को नए ढंग से सोचने और सुधरने की ज़रूरत है।



Tuesday, 16 June 2015

(मैग्गी)टेस्ट भी हेल्थ भी ।

                                                         

यह  विज्ञापन मैग्गी नूडल्स का,यह हेल्थी नहीं है पर हर घरमे इसकी पहुंच इतनी क्यों होगयी?
इसका एक कारण तो २ मिनट में तैयार होने वाला
माँ भी खुश और बच्चा भी खुश
आज की नौजवान पीढ़ी को  भी यह इस्ल्ये भा गया की काम समय और आसान तरीके से पेट भरजाये
कामकाजी महिला और जहा हर व्यक्ति व्यस्त है वाहा यह मैग्गी एक वरदान बनकर आई और छा गयी
 आज इसका दुष्परिणाम हमें देखने को मिल रहा है । 

Sunday, 14 June 2015

वेल डन लिपिका मित्रा ||

                                           
सोमनाथ भारती की पत्नी लिपिका का पति के खिलाफ करवाई की मांग सराहनीय है
एक नेता की पत्नी जो स्वयं आत्मनिर्भर हो उसके साथ गाली-गलोज ,मार-पीट ,दहेज़-प्रतारणा
तो सामान्य नारी की क्या स्थिति  होगी
स्त्रीया चाहें किसान की हो,मजदुर की हो या फिर मच्छीमार की
वह घर का काम तो करती ही है लेकिन पति को उनके कार्य में पूरा सहयोग करती है
फिर भी उनकी स्थिति बदतर  होती है
उनके कार्य को महत्त्व ही नहीं दिया जाता है
अब औरत सचेत हो रही है और अपने योगदान के महत्त्व को समझ रही है ।



"जान्हवी गाड़कर "किसी का शौक किसी की तबाही।

एक जानी-मानी वकील महिला द्वारा शराब पीकर गाडी चलाना  एक्सीडेंट
क्या यही हम विकास कर रहे है । शराब का शौक किसी परिवार को तबाह कर गया
इतना नशा की सुध भी न रहे
किसी का शौक और किसी की ज़िन्दगी
ऐसे लोगों को कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए
शराब पीकर गाडी चलानेवालों का तो लाइसेंस भी जप्त कर लेना चाहिए
कमाल है जो चल नहीं पा रही है वह गाडी चला रही है।


Thursday, 11 June 2015

बदलते ज़माने और बदलता समय ||

                                                         
आज हमारे पास सबकुछ कार,मोबाइल पर वो अपनापन नहीं
पहले एक के पास टीवी रहता था और सब उस घर के आसपास मंडराते थे
कोई खिड़की से झाकता कोई दरवाजे पर खड़ा
गुस्सा करने और आँख दिखने पर भी भागते नहीं थे और निर्लज बने रहते थे
पडोसी डाटता भले पर दरवाज़ा बंद नहीं करता था
चित्रहार,रविवार की फिल्म,क्रिकेट मैच,रामायण आदि देखने की तैयारी पहले से  होजाती थी
रविवार के दिन बीच गली में क्रिकेट खेलते बच्चे, पर उसके पीछे भागते बच्चे
पडोसी के फ़ोन पर सबका हक़,सब उसका नंबर देकर रखते थे
पोस्टमैन आने पर सब आस-पड़ोस के लोग गैलरी में जमा
फ़ैल होने पर सबकी डाट,फालतू घूमने पर सबकी नज़र
मेहमान आने पर ताका-झाकी,खाने की खुसबू बाहर तक
बिना निमंत्रण दिए भी जन्मदिन की तैयारी सारे बच्चो की
भले ही प्राइवेसी न थी लेकिन चिंता भी न थी
बच्चे अपने आप बड़े होजाते थे
आज तो पड़ोस में क्या हो रहा है यह भी  नहीं मालूम
आज भी पडोसी की वह डाट याद आते ही चेहरे पर मुस्कराहट आजाती ही।

  

Sunday, 7 June 2015

Betiya beto se badkar

Aajkal beti  beto se badkar hai
Har jagah betiyan maa baap ka naam roshan kar rahi hai
Beti ko bojh mat samjho

Saturday, 6 June 2015

योग करिये और स्वस्थ रहिये ॥

                                                   
योग दिवस पूरे विश्व मे धूमधाम से
सही है
इसमें धर्म से क्या. लेेना देना
पूरा विश्व इसे मान्यता दे रहा है
अगर स्वास्थ्य का सवाल है तो आज के तनाव भरे जीवन में योग फायदेमंद है
यह प्राचीनकाल से चला आरहा है ,इसपर भी राजनीती
योग राजनीती का विषय नहीं अमल करने का विषय है 
योग ही जीवन है
यह जीवन को नियंत्रित करता है
समाधि की अवस्था तक पहुंचाता है
जीवन को दिशा देता है
कम से कम कुछ समय के लिए ही सही
मन तो शांत







भारतीय राजनीती बदल रही है ?या जनता होशियार ?

                                                               
लोगो के अच्छे दिन आने के साथ-साथ शायद कांग्रेस के भी अच्छे दिन आगये है
राहुल के साथ-साथ कोंग्रेसी भी बोलने लग गए है
पार्टियो को अपने काम का प्रचार करने के लिए आपस में होड़ लगी हुई है
राहुल के अमेठी दौरे के तुरंत बाद स्मृति ईरानी वाहा पहुचती है
अगर सभी राजनेता यही करे तो अमेठी के साथ-साथ सभी जिलो-राज्यों का भला होजाये
पहले कहा जाता था नेता जीतने के बाद  ५ साल के लिए गायब होजाते है पर आज इसके विपरीत हो
रहा है ।