Monday, 18 March 2019

मासिक धर्म वरदान है

जिस रक्त और बीज से भ्रूण का संचार
उसी मे नव महीना जीव का पूर्ण विकास
वही रक्त  अस्वस्छ
वह चार दिन का समय दूषित
ईश्वर से दूर रहने की मजबूरी
कोई पवित्र कार्य की मजबूरी
रसोई की मलिका रसोई से दूर
यह कैसा रीति रिवाज
छिपा कर रखना
जैसे कोई अपराध किया हो
जबकि जिस दिन नारी रजस्वला होती है
पूर्ण नारी बन जाती है
ईश्वर का वरदान है यह
यही उसे सबसे श्रेष्ठ
मां बनाता है
फिर उसे इतना छिपा कर ,गलत मान कर
यह तो सरासर अपमान है शरीर का
जो इतना उर्जावान - उर्वरक है
एक नये जीवन का जन्म का कारण
सृष्टि संचालित होती है
मासिक धर्म वरदान है
संपूर्ण सृष्टि के लिए

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