Saturday, 6 July 2019

मैं बस मै हूँ

आईने के सामने खड़े हो
जब अपने ही अक्स को देखा
मुस्करा उठी
पूछा उससे
कौन हूँ मैं
जो दिख रही हो
वही तो हो तुम
आईना कभी झूठ नहीं बोलता

तब लोग जो कहते हैं
लोगों का क्या ??
आईना और अंतरात्मा कभी झूठ नहीं बोलती
स्वयं को अपनी नजरों से पहचानना है
दूसरों की नहीं

यह सुन ठठाकर हस पडी
देखा तो सामने भी कोई हस रहा था
अच्छा लगा
अपने से बात कर
हमसे अच्छा हमको कौन जान सकता है
मेरा अपना अस्तित्व
मैं लोग नहीं
मैं बस मै हूँ
यही एहसास तो आईना मुझे करा रहा था

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