Saturday 26 November 2022

नौकरी ना करी

काम तुम भी करते हो
काम मैं भी करता हूँ 
तुम नौकरी करते हो
बडे अफसर हो
दस लोग सलाम करते हैं 
कुर्सी पर बैठते हो 

मैं ठेले लगाता हूँ 
लोगों को सलाम करता हूँ 
मीठे से बोलता हूँ 
हर कोई मेरे ठेले पर आए 
कोई सुनाता है तो सुन भी लेता हूँ 
पैसे भी कमाता हूँ 
हाँ तुम्हारी तरह ठाठ बांट से कपडे नहीं पहनता
मैं हाथ से काम करता हूँ 
तुम कलम से

सब कुछ भिन्न है
एक बात फिर भी है
मैं किसी का नौकर नहीं 
अपनी मर्जी का मालिक हूँ 
दवाब नहीं है किसका 
तभी तो कहा गया है
नौकरी      ना    करी 

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